रतलाम। ए श्रेणी के कहे जाने वाले रेलवे स्टेशन पर यात्रियों की परेशानी कम होने का नाम नहीं ले रही। रविवार सुबह प्लेटफॉर्म नंबर 7 से चलने वाली ट्रेन हल्दीघाटी पैसेंजर मंे इंजन ही करीब 25 मिनट देरी से जुड़ा। दोपहर को रावटी में कोयले से भरी मालगाड़ी ने आगे चलने से इंकार कर दिया तो मुंबई-दिल्ली रेल मार्ग ही ठप हो गया। करीब डेढ़ घ्ंाटे के बाद अतिरिक्त इंजन की सहायता से ओवरलोड मालगाड़ी को रतलाम तक लाया गया। इन सबसे यात्री ट्रेन का इंतजार करते रहे व परेशान होते रहे।
सुबह करते रहे इंतजार
सुबह...
more... करीब 8.35 बजे हल्दीघाटी पैसेंजर ट्रेन चलने का समय है। इस ट्रेन में करीब 20 मिनट पहले इंजन जुड़ जाता है। रविवार को एेसा न हो पाया। तय समय तक जब इंजन नहीं पहुंचा तो यात्रियों ने इंजन के बारे में स्टेशन पर पदस्थ रेल कर्मचारियों से जानकारी लेना चाही। हालांकि कर्मचारी भी इस बारे में कुछ नहीं बता पाए। इंतजार करते हुए जब यात्री परेशान हो गए तो उन्होने नारेबाजी शुरू कर दी। इस बीच करीब 25 मिनट देरी से सुबह 9 बजे इंजन आया। इसके बाद 9.5 बजे ट्रेन चली। इस बीच यात्रियों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया।
दोपहर में ट्रैक ही जाम हो गया
दोपहर में बड़ोदरा तरफ से आ रही कोयले से भरी मालगाड़ी रावटी के आगे नहीं चल पाई। इंजन ने ओवरलोड होने की वजह से इन डिब्बों को आगे ले जाने में असमर्थता व्यक्त की। इसके बाद चालक व गार्ड ने वॉकी-टॉकी से आपस में बात की व रावटी स्टेशन मास्टर को इस बारे में सूचना दी। जब यह तय हो गया कि इंजन नहीं चलेगा तो रावटी स्टेशन मास्टर ने रतलाम रेलवे कंट्रोल पर इसका सूचना दी। इसके बाद रतलाम में यार्ड से एक इंजन को पहुंचाया गया। इन सब में करीब डेढ़ घंटा हो गया। इससे एक अन्य ट्रेन पार्सल को अन्य स्टेशन पर रोके रखा गया।
सूचना तक नहीं पहुंची
हैरानी की बात यह कि डेढ़ घंटे तक मुंबई-दिल्ली ट्रैक जाम होने के बाद भी वरिष्ठ अधिकारियों तक इस बारे में रेलवे नियतंत्र कक्ष से रविवार होने के कारण सूचना तक नहीं दी गई। पत्रिका ने इस बारे में जब परिचालन विभाग से जानकारी मांगी तो सभी के पास जानकारी का अभाव था।
तकनीकी समस्या होती है
सुबह इंजन में व दोपहर में ट्रैक पर तकनीकी समस्या की वजह से ट्रेन देरी से चली। समस्या की जानकारी मिलते ही उसको सुधार किया गया व ट्रेन को चलाया गया।
-जेके जयंत, जनसंपर्क अधिकारी, रतलाम रेल मंडल